
सहारा न्यूज टुडे संम्पादक दुर्गेश कुमार तिवारी
कानपुर। माननीय कुलपति प्रोफेसर विनय कुमार पाठक की प्रेरणा एवं मार्गदर्शन में छत्रपति शाहूजी महाराज विश्वविद्यालय कानपूर के शिक्षा विभाग शोध एवं विकास प्रकोष्ठ तथा आतंरिक गुणवत्ता आश्वासन प्रकोष्ठ के संयुक्त तत्त्वावधान में 14 दिवसीय “ अंडरस्टैंडिंग रिसर्च मेथोडोलोजी: पैराडाइम, प्रैक्टिसेज एंड प्रोसेस” विषयक राष्ट्रीय शोध कार्यशाला का शुभारम्भ शिक्षा विभाग के मालवीय भवन में आज दिनांक 14 अक्टूबर 2024 को हुआ। कार्यशाला का शुभारम्भ विषय विशेषज्ञ प्रोफेसर डी.एन.सनसनवाल, विश्वविद्यालय के प्रतिकुलपति प्रोफेसर सुधीर कुमार अवस्थी, महाविद्यालय विकास परिषद के प्रमुख प्रोफेसर राजेश कुमार द्विवेदी, कुलसचिव डॉ0 अनिल यादव द्वारा देवी सरस्वती के पुष्पार्चन एवं संयुक्त दीप प्रज्ज्वलन से हुआ। इस अवसर पर शोध विशेषज्ञ प्रोफेसर सनसनवाल ने देश के विकास में गुणवत्तायुक्त शोध के महत्व पर बल देते हुए बताया की शोध में विषय ज्ञान के साथ आधुनिक तकनीक के सदुपयोग द्वारा हम अपने शोध कार्य को वैश्विक महत्ता दिला सकते है। प्रति कुलपति प्रोफेसर सुधीर कुमार अवस्थी ने संरक्षक उद्बोधन देते हुए कहा कि विश्वविद्यालय शोध एवं नवाचार के मामले में नवीन कीर्तिमान स्थापित कर रहा है इसमे इस तरह की कार्यशालाओं का महत्वपूर्ण योगदान है। वर्तमान समय में शोधार्थी को शोध प्राविधि के साथ ही विश्लेषणात्मक सांख्यिकी में भी प्रवीण होने की आवश्यकता है। कृतिम बुद्धिमत्ता एक सहायक उपागम हो सकती है लेकिन वह नैसर्गिक मेधा एवं प्रयास को विस्थापित नहीं कर सकती। प्रोफेसर सनसनवाल जैसे दक्ष, निष्णात एवं सक्षम विद्वान के द्वारा यह कार्यशाला निश्चय हि विश्वविद्यालय के शोधार्थियों के ज्ञान एवं दक्षता संवर्धन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी। विश्वविद्यालय के शोध एवं विकास प्रकोष्ठ की अधिष्ठाता डॉ0 अनुराधा कालानी ने सभी अतिथियों एवं प्रतिभागियों का स्वागत करते हुए कहा की यह कार्यशाला विश्वविद्यालय में शोध संस्कृति को बढ़ावा देने वाली होगी तथा शोधार्थियों को शोध के प्रति नवीन नजरिया एवं उत्साह प्रदान करेगी।
कॉलेज विकास प्रकोष्ठ के निदेशक प्रोफेसर राजेश कुमार द्विवेदी ने कहा की आज के वैश्विक प्रतिस्पर्धा के युग में शोध के नवीन आयामों, कार्यविधियों एवं प्रक्रियाओं को समझने हेतु इस तरह की कार्यशाला अति आवश्यक है। इस अवसर पर विश्वविद्यालय के कुलसचिव डॉ0 अनिल यादव ने आयोजन समिति के सदस्यों की कार्यशाला आयोजन हेतु शुभकामनाएं व्यक्त कीं तथा इस तरह की कार्यशालाओं के आयोजन हेतु प्रोत्साहित किया। कार्यक्रम में स्वागत संबोधन शिक्षा विभाग की विभागाध्यक्ष डॉ0 रश्मि गोरे धन्यवाद ज्ञापन आई.क्यू.ए.सी. के निदेशक प्रोफेसर संदीप कुमार सिंह एवं मंच संचालन डॉ0 रत्नार्तु: मिश्रा ने किया। देश भर के विभिन्न राज्यों के केंद्रीय एवं राज्य विश्वविद्यालयों के 150 से अधिक शोधार्थी एवं शिक्षक इस कार्यशाला में उत्साहपूर्वक प्रतिभाग कर रहे है। इस अवसर पर आयोजन समिति के सदस्य डॉ0 विमल सिंह, डॉ0 बद्री नारायण मिश्र, डॉ0 गोपाल सिंह, डॉ0 तनूजा भट्ट, डॉ0 प्रियंका मौर्य, डॉ0 स्नेह पाण्डेय, श्रीमती प्रिया तिवारी आदि शिक्षक उपस्थित रहे।